रिपोर्ट मुकेश मिश्र
मोहनलालगंज।अब जिला जेल के बंदी घर वालों से पीसीओ के जरिए बात कर सकेंगे। बंदी हफ्ते में दो से तीन बार ही बात कर सकेंगे। बात करने के लिए हर बंदी को अधिकतम दो मिनट का समय दिया जाएगा। कोरोना के बचाव के चलते जेल प्रशासन ने 31 मार्च तक बंदियों की जेल में बंद की गई मुलाकात के चलते यह फैसला लिया है। जेल में मौजूदा समय में 3500 बंदी हैं।
सिर्फ पोस्ट पेड मोबाइल और पीएनटी पर बात होगी
वरिष्ठ जेल अधीक्षक प्रेमनाथ पाण्डेय बताते हैं कि बंदी पोस्ट पेड मोबाइल और पीएनटी नम्बर पर ही बात कर सकेंगे। अब इन दोनों नम्बरों और बंदी के परिजनों का सत्यापन स्थानीय पुलिस के कराना जरूरी नही होगा। इसके लिए बंदियों के परिजनों को एक शपथ देना होगा। जिसमें बात किए जाने वाले मोबाइल और पीएनटी नम्बर की जानकारी के साथ ही बंदी और उनके घरवालों का ब्यौरा देना होगा। जेल में बंदियों को घरवालों से बात करने के लिए पीसीओ की सुविधा कई साल पहले शुरू की गई थी। पर, इसका उपयोग दूर दराज के कुछ ही बंदी कर रहे थे।
डीआईजी ने साफ-सफाई के निर्देश दिए
हाल में कार्यभार संभालने वाले परिक्षेत्र डीआईजी संजीव त्रिपाठी ने जेल का निरीक्षण कर कोरोना से बचाव के प्रति वरिष्ठ जेल अधीक्षक पीएन पाण्डेय के साथ ही अन्य जेल अधिकारियों, जेलकर्मियों और बंदियों को जागरूक किया। साफ -सफाई के निर्देश दिए। डिप्टी जेलर ज्ञान लता पाल के निर्देशन में बुधवार को बैरकों, जेल अस्पताल, पाकशाला, मुलाकात घर समेत समूची जेल में ब्लीचिंग से धुलाई कराई गई। जेल के प्रत्येक गेट और प्रवेश द्वार पर पानी की टंकी के साथ साबुन उपलब्ध कराया गया है। आदर्श जेल में तैयार 800 मास्क बंदियों को वितरित किए गए।